उदयपुर की अभय मंजुला सेवा संस्थान की द्वितीय वर्षगांठ के अवसर पर एक कार्यक्रम का आयोजन किया गया । कार्यक्रम में संस्था के सदस्यों ने कच्ची...
‘कर्माधिकारी शनिदेव’ ने हमेशा से अपनी दिलचस्प कहानी और अनुभवी कलाकारों के प्रदर्शन से दर्शकों का ध्यान खींचा है। अब, शो में एक नए किरदार बाल...
हंसमुख सेवा संस्थान ने 23 जरूरतमंद महिलाओं को तीन दिवसीय निःशुल्क धूप अगरबत्ती प्रशिक्षण शिविर का आयोलन किया गया था जिसका सोमवार को समापन के अवसर...
कंपनी 99.99 प्रतिशत शुद्ध चांदी एलबीएमए से प्रमाण सिन्देसर खुर्द माइंस विश्व की दूसरी सबसे बड़ी चांदी उत्पादक खदान मुंबई, 18 अप्रैल 2024। जिंक-सीसा-चांदी कारोबार में वेदांता समूह की कंपनी...
Udaipur, Rajasthan – April 5, 2024: Hindustan Zinc, a leading Vedanta group company in the Zinc-Lead-Silver business, has been conferred the prestigious 3rd National Transgender Award...
रामपुरा आगुचा खदान ने ओवरऑल प्रथम, कायड़ और सिंदेसर खुर्द को द्वितीय स्थान देश की एकमात्र और विश्व की दूसरी सबसे बड़ी एकीकृत जिंक-सीसा-चांदी उत्पादक कंपनी हिंदुस्तान जिंक को 34वें खान पर्यावरण और खनिज संरक्षण में विभिन्न श्रेणियों में 24 पुरस्कारों से सम्मानित किया गया। भारतीय खान ब्यूरो, अजमेर क्षेत्र के तत्वावधान में निम्बाहेड़ा में आयोजित पुरस्कार समारोह के दौरान सभी विजेताओं को सम्मानित किया गया। हिंदुस्तान जिंक की रामपुरा आगुचा खदान को अपशिष्ट डंप मैनेजमेंट, सस्टेनेबल डवलपमेंट, सिस्टमैटिक एण्ड साइंटिफिक डवलपमेंट, हेतु एवं भूमिगत श्रेणी में समग्र रूप से प्रथम स्थान हासिल हुआ। कायड माइन को रिक्लेमेशन एवं रिहेबिलेशन, मिनरल कन्सर्वेशन एण्ड सस्टेनेबल डवलपमेंट और समग्र रूप से दूसरा स्थान प्राप्त हुआ। सिंदेसर खुर्द खदान ने सिस्टमैटिक एवं साइंटिफिक डवलपमेंट, मिनरल बेनिफिकेशन, पोस्टर प्रतियोगिता, डिजिटलीकरण के लिए पुरस्कार प्राप्त किया और समग्र रूप से दूसरा स्थान हासिल किया। राजपुरा दरीबा माइंस को वनीकरण, अपशिष्ट डंप प्रबंधन और खनिज लाभकारी के लिए पुरस्कार मिला। मोचिया खदान को पुनर्ग्रहण एवं पुनर्वास, खनिज लाभकारी और पर्यावरण निगरानी के लिए पुरस्कार प्राप्त हुए। बलारिआ खदान को वनरोपण और प्रचार-प्रसार के लिए पुरस्कार प्राप्त हुए। बरोई खदान को सिस्टमैटिक एवं साइंटिफिक डवलपमेंट, खनिज संरक्षण और पर्यावरण निगरानी के लिए पुरस्कार प्राप्त हुए। जवारमाला खदान को पुनर्ग्रहण एवं पुनर्वास और वनीकरण के लिए पुरस्कार प्राप्त हुए। नेट जीरो 2050 के लिए प्रतिबद्ध होने वाली पहली खनन कंपनियों में, हिंदुस्तान जिंक उच्च ईएसजी मानकों को बनाए रखने, जलवायु परिवर्तन, जल और ऊर्जा के संरक्षण हेतु प्रतिबद्ध है। हिंदुस्तान जिंक भारत की पहली खनन कंपनी है जिसकी खदान भारत में ग्रीनको रेटेड प्रमाणित है।
कंपनी द्वारा सस्टेनेबिलिटी हेतु प्रयासों को लगातार सातवें वर्ष सस्टेनेबिलटी ईयरबुक में स्थान वेदांता समूह की कंपनी और भारत में जिंक, सीसा और चांदी का सबसे बड़े...
जीवन को वर्तमान में जियो , जो जा चुका है उस पर पछतावा कभी नहीं करना चाहिए। जीवन के हर क्षण का आनंद लेते हुए अपने...
रिपोर्ट – लखन शर्मा उदयपुर खटीक समाज राष्ट्रीय एकता मंच की ओर से खटीक समाज का पहला निःशुल्क सामूहिक विवाह समारोह 14 फरवरी बसंत पंचमी पर...
भारत की आजादी के अमृत महोत्सव के उपलक्ष्य में राजस्थान की समृद्धि की ओर थीम आधारित उन्नति 2024 तीन दिवसीय महाप्रदर्शनी कार्यक्रम काआयोजन भूपाल नोबल्स इनडोर...