April 20, 2024

UDAIPUR NEWS CHANNEL

Udaipur News की ताज़ा खबरे हिन्दी में | ब्रेकिंग और लेटेस्ट न्यूज़

देवस्थान के मंदिर में पर्यटकों से लूट, अधिकारीयों की मिलीभगत या पुजारी का खेल

1 min read

देवस्थान विभाग के अधीन आने वाले उदयपुर के अमराई घाट पर स्थित मंदिर में फोटोग्राफी का काम करने वाले कुछ जागरूक फोटोग्राफरों ने यहां पुजारी और देवस्थान विभाग की मिलीभगत से चल रहे आंकड़ों के हेरफेर के खेल को उजागर करते हुए हंगामा ही मचा दिया, इन फोटोग्राफरों ने बड़े स्तर पर लम्बे समय से इस मंदिर परिसर में चल रहे बेईमानी और भ्रष्टाचार के इस घिनौने खेल में शामिल सभी लोगों के चेहरे उजागर करते हुए कठोर कार्रवाई करने की मांग की है, दरअसल यहां हंगामा उस समय खड़ा हो गया जब कुछ पर्यटक इस मंदिर में दर्शन करने के लिए पहुंचे, मंदिर पहुँचने के बाद जब उन्हें यहां शुल्क के रूप में रशीद कटवाने और राशि देने को कहा तो वे यह शुल्क देने को तैयार हो गए, लेकिन उन्हें उस समय गहरा झटका लगा जब उन्होंने वापिस मुड कर इन रशीद बुकों मे उनके द्वारा दिए गए शुल्क और उनके साथ आये लोगों की संख्या पर नज़र डाली,,,वह यह देखकर हैरान रह गए कि 10 लोगों से शुल्क वसूल किया गया और रशीद बुक में सिर्फ 2 लोगों की एंट्री ही दर्शाई गई,,,यह देखते ही पर्यटकों का पारा चढ़ गया और उनहोने यहां हंगामा मचाना शुरू कर दिया, जब यह हंगामा हो रहा था तो यहां फोटोग्राफी का व्यवसाय करने वाले कुछ फोटोग्राफर भी पहुंचे इसी दौरान यहां सेवादल कांग्रेस के कौशल आमेटा भी पहुंचे और पर्यटकों से उनके साथ हुई धोखाधड़ी के बारे में पूछा तो पर्यटकों ने इस तरह टीकड़ों में पर्यटकों की संख्या और राशि में हेरफेर को एक साजिश बताया, पर्यटक भी रशीद बुक में यह देखकर हैरान थे कि वह जब दस लोग थे तो रशीद बुक में उनकी संख्या मात्र दो ही क्यों लिखी गई, उन्होंने खुद ने जब रशीद बुक को चैक किया तो रशीद बुक में लिखी गई राशि में अंतर पाया गया, रशीद का एक भाग जो विभाग के पास ही रहता है उसमे 2 व्यवक्तियों की एंट्री की गई और रशीद बुक का जो हिस्सा पर्यटक को दिया गया उसमे 10 लोगों की एंट्री दर्शाई गई, साथ ही जो शुल्क रशीद बुक में लिखा गया है वह भी अलग-अलग लिखा गया, रशीद का जो हिस्सा विभाग के पास रहता है उसमे 20 रूपये लिखे गए और रशीद का जो हिस्सा पर्यटक के हाथ में थमाया गया उसमे 100 रुपीर लिखा गया, यानी कि विभाग को 80 रुपये की सीधी चपत, अब अगर दिन भर इसी तरह ग़बन का यह का खेल चलता है तो आप अंदाजा लगा सकते है रोज की कितनी और महीने भर में कितनी बड़ी राशि का ग़बन किया जा रहा है,,,यक़ीनन अगर इस मामले की निष्पक्ष जांच हो तो इसमें और लोगों की लिपटता से भी इंकार नहीं किया जा सकता क्योंकि इतनी बड़ी राशि के हेरफेर में सिर्फ पुजारी ही शामिल हो यह बात भी गले नहीं उतरती, ,अब देखना यह होगा कि भ्र्ष्टाचार के इस खुलासे के बाद सम्बंधित विभाग इस पूरे मामले को लेकर किस तरह की कार्रवाई को अंजाम देता है भ्रष्ट चेहरों को बेनकाब करता है

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *