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CRIME NEWS

किताबें देने के बहाने लाइब्रेरी में बुला शिक्षक ने छात्रा के साथ की घिनौनी हरकत, विद्यालय प्रबंधन ने मामले को दबाने का किया प्रयास

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मामला खुला तो 15 दिन बाद विभाग अधिकारियों को करवाया अवगत, शिक्षक को किया निलंबित

भींडर/ अशोक श्रीमाली

प्रदेश में एक बार फिर शिक्षा के मंदिर को शर्मसार करने वाला मामला सामने आया है , भींडर नगर के राजकीय महात्मा गांधी इंग्लिश मीडियम स्कूल जहाँ एक शिक्षक (पुस्तकालयध्यक्ष) ने अपने ही विद्यालय में पढ़ने वाली छात्रा को अकेले पाकर उसके साथ घिनौनी हरकत कर दी । छात्रा की शिकायत के बावजूद विद्यालय प्रबंधन ने 15 दिन तक मामले को दबाए रखा, शिक्षक को बचाने के खूब प्रयास किया लेकिन मामला खुल जाने के बाद विभाग अधिकारियों को अवगत कराया और विभागीय अधिकारियों ने त्वरित कार्यवाही करते हुए संबंधित शिक्षक को निलंबित कर दिया है ।

जब मामले की भनक मीडिया को लगी तो इसकी गहन पड़ताल की गई जिसमें जो सच सामने आया वह रूह कपाने वाला था । विद्यालय के शिक्षक क्रांतिलाल यादव निवासी भींडर ने देरी से विद्यालय पहुँची छात्रा को पुस्तकें देने के बहाने लाइब्रेरी में बुलाया और उसके साथ गलत हरकतें करते हुए उसको दबोच लिया, छात्रा ने शिक्षक के हाथों से छूटने के लिए अनुनय विनय भी किया । बड़ी मुश्किल से छात्रा बहाना बनाकर हेवान बने शिक्षक के चुगल से निकली। डरी सहमी छात्रा ने उस दिन यह बात किसी को नहीं बताई एवं कुछ देर विद्यालय में रुकने के बाद ही घर चली गई।

घटना के कुछ दिन बाद तक भी वह यह बात किसी को बताने से डरती रही क्योंकि वह शिक्षक रोज स्कूल आ रहा था और वह उसे देखकर डर रही थी। मामला तब खुला जब घटना के 7 दिन बाद एक शिक्षक द्वारा बालिका सुरक्षा को लेकर पढ़ाते समय छात्रा भावुक होकर जोर जोर से रोने लग गई , संबंधित शिक्षक ने भी बालिका की पीड़ा जानने के खूब प्रयास किया लेकिन उसने मुंह नहीं खोला। इसके बाद उसने हिम्मत जुटा कर घटना की जानकारी प्रधानाचार्य अशोक जोशी को दी, लेकिन प्रधानाचार्य ने घटना को हल्के में लेते हुये इस मामले को आलाअधिकारियों को अवगत कराने के बजाय विद्यालय स्तर पर ही कमेटी बनाकर पीड़ित के परिजनों को विद्यालय बुलाकर उक्त हैवान बने शिक्षक कांति लाल यादव को बचाने का प्रयास किया। यहां तक की विद्यालय प्रबंधन ने ही लगातार इस तरह की वार्ता कर पीड़िता की पहचान भी उजागर कर दी, जिससे पूरे विद्यालय में पीड़ित छात्रा खूब लज्जित हुई ।

मिली जानकारी के अनुसार विद्यालय प्रबंधन ने उस हैवान शिक्षक के सामने ही पीड़िता को बुलाकर समझौते का प्रयास किया इस दौरान भी जब उस हैवान शिक्षक को अपने किये पर जरा भी पछतावा नहीं हो रहा था तो परेशान छात्रा ने रोते हुए मौजूद शिक्षकों के सामने में ही उस हैवान शिक्षक को चांटा भी मार दिया । लेकिन विद्यालय प्रबंधन भी इतना बेपरवाह बन चुका था कि उसने केवल समझौते के अलावा शिक्षक के खिलाफ कोई कार्रवाई करना उचित नहीं समझा। छात्रा ने अन्य शिक्षकों को दी जानकारी के अनुसार यह घटना 15 सितंबर की बताई गई। 22 सितंबर को विधालय प्रबंधन को जानकारी होने के बाद भी शिक्षक लगातार बेख़ौफ़ होकर स्कूल आता रहा एवं छात्रा डरी सहमी रही ।


इस मामले में सीबीईओ भींडर रमेश चंद्र खटीक का कहना है कि विद्यालय प्रबंधन ने घोर लापहरवाही बरतते हुए मामले की जानकारी घटना के करीब 15 दिन बाद दी जिसका नोटिस भी संबंध विद्यालय प्रधानाचार्य को जारी कर दिया गया । इस तरह की घटना होने पर तुरंत विभाग कार्यालय में सूचना देनी होती है, लेकिन विद्यालय प्रबंधन द्वारा ऐसा नहीं किया गया । जानकारी मिलते ही उसी दिन जेडी ऑफिस व सीडीपीओ उदयपुर को अवगत कराया जिसके बाद विभाग द्वारा शिक्षक को निलंबित कर दिया गया है ।

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